इंदौर। बसों से ट्रकों की तरह माल ढुलाई, ओवरलोड होने से एक्सीडेंट का खतरा, शहर में हो रहा ट्रैफिक जाम, हाई कोर्ट ने मांगा जबाब

प्रशासन, नगर निगम व ट्रैफिक पुलिस से अवैध बस अड्‌डों पर जवाब मांगा

हाई कोर्ट के चीफ जस्टिस की अध्यक्षता वाली डिविजन बेंच ने सोमवार को प्रशासन, नगर निगम और ट्रैफिक पुलिस को नोटिस जारी कर पूछा है कि शहर में यात्री बसों का इस्तेमाल ट्रकों की तरह माल ढोने में हो रहा है। इनकी वजह से ट्रैफिक जाम की स्थिति रहती है। अवैध बस स्टेशन, गोडाउन और स्टॉपेज को खत्म करने के लिए क्या कदम उठाए जा रहे हैं। हाई कोर्ट ने याचिकाकर्ता को आदेश दिए हैं कि इस जनहित याचिका में ट्रैवल्स कंपनी को भी पक्षकार बनाया जाए।

चीफ जस्टिस सुरेशकुमार कैत, प्रशासनिक जज विवेक रूसिया की खंडपीठ के समक्ष इस जनहित याचिका की सुनवाई हुई थी। याचिकाकर्ता पुनीत शर्मा की ओर से अधिवक्ता अनिल ओझा ने पैरवी की। याचिका में उल्लेख किया गया था कि पटेल ब्रिज, छोटी ग्वालटोली में कई ट्रैवल्स कंपनियों के अवैध ऑफिस हैं। यहीं पर बसें खड़ी होती हैं और यात्री बैठते हैं। बसों की छत का उपयोग माल सप्लाय करने के लिए हो रहा है। ट्रकों के बराबर माल लाद दिया जाता है। बस न केवल ओवरलोड हो जाती है बल्कि एक्सीडेंट का खतरा भी रहता है। वहीं बसों के खड़े रहने से शाम से लेकर रात तक ट्रैफिक जाम रहता है।

राजेंद्र नगर में दोनों समय हालत खराब

राजेंद्र नगर में महिला पॉलिटेक्निक कॉलेज के सामने वाले चौराहे पर भी सुबह 6 से 10 और शाम 6 से रात 11 बजे तक ट्रैफिक का बुरा हाल रहता है। दर्जनों बसें आती हैं, जिनके 10-15 मिनट खड़े रहने से एबी रोड पर जाम लग जाता है। ब्रिज पर भी वाहनों की कतार लग जाती है।

3500 से ज्यादा ई-रिक्शा, बेतरतीब चलते हैं

याचिका में ई-रिक्शा को भी नियंत्रित करने की मांग की है। इनकी संख्या शहर में 3500 से अधिक हो गई है। प्रमुख सड़कों पर यह बेतरतीब चलते हैं। ट्रैफिक जाम और एक्सीडेंट का बड़ा कारण भी है। राजबाड़ा पर इन्हें प्रतिबंधित किया था, लेकिन अब फिर से दर्जनों की संख्या में यह खड़े रहते हैं। ट्रैफिक पुलिस वालों की नजरों के सामने यह राजबाड़ा पर आकर सवारियों को बैठाते हैं।

शहर में एक दर्जन से ज्यादा अवैध बस अड्‌डे

राजमोहल्ला : अहमदाबाद, सूरत, वड़ोदरा, गांधीनगर, कोटा, बूंदी, जयपुर, अजमेर, भीलवाड़ा, उदयपुर, नीमच, चित्तौड़गढ़ रूट की बसें संचालित होती हैं।

नौलखा : मुंबई, पुणे, नासिक, शिर्डी, अमरावती, नागपुर, अहमदाबाद, सूरत, वड़ोदरा, एदलाबाद, अकोला, जलगांव, बैतूल, पिपरिया, पचमढ़ी, जबलपुर के लिए बसें चलती हैं।

बॉम्बे हॉस्पिटल, रेडिसन और विजय नगर चौराहा : मुंबई, पुणे, नासिक, शिर्डी, सूरत, अहमदाबाद, लखनऊ, अयोध्या, आगरा, मथुरा, रायपुर, भिलाई की बसें चलती हैं।

ढक्कनवाला कुआं : मुंबई, नासिक, पुणे, अहमदाबाद, आगरा, ग्वालियर, अशोकनगर, बालाघाट, जबलपुर के लिए बसें संचालित होती हैं।

पटेल ब्रिज, झाबुआ टॉवर, रेलवे स्टेशन : मुंबई, नासिक, पुणे, कोटा, बूंदी, सागर, झांसी, आगरा, बालाघाट, दमोह, मंडला, छतरपुर, झांसी की बसें यहां चलती हैं।

यहां बन गए अवैध पिकअप स्टेशन

तीन इमली, आईटी पार्क चौराहा, राजीव गांधी चौराहा, राजेंद्र नगर, पीपल्याहाना, रेडिसन चौराहा, एमआर-10, चंदननगर सिरपुर जैसे क्षेत्र इन बसों के लिए अवैध पिकअप स्टेशन बन गए हैं।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *